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देश में बढ़ रहे है सामूहिक फ़ूड पॉइज़निंग के मामले।

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प्रशासन द्वारा सामूहिक फ़ूड पॉइज़निंग को लेकर उदासीन रवैया। 

देश में हर रोज सामूहिक फ़ूड पॉइज़निंग के मामले बढ़ते जा रहे है।  सामूहिक फ़ूड पॉइज़निंग से हमारा मतलब शादी समारोह ,दावतों,या हॉस्टल आदि में ज्यादा लोगो का खाना बनता है और खाने में किसी भी तरह से गड़बड़ी  सामूहिक फ़ूड पॉइज़निंग का कारण बन जाती है। 

हालही में ग्वालियर में लक्ष्मी बाई नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ़ फिजिकल एजुकेशन (LNIPE ) के हॉस्टल की मैश में खाना खाने से करीब 100 से अधिक स्टूडेंट्स को सामूहिक फ़ूड पॉइज़निंग का शिकार होना पड़ा जिसमे से दर्जन से अधिक स्टूडेंट्स की हालत गंभीर थी। सुचना के अनुसार स्टूडेंट्स ने मंगलवार 3 ऑक्टूबर  रात के भोजन में पनीर की सब्जी व चपाती खायी थी। फूड पॉइज़निंग के लिए पनीर का बासी या मिलावटी होना बताया जा रहा है। 

ऐसे ही देश के विभिन्न इलाको राज्यों में सामूहिक फ़ूड पॉइज़निंग के मामले सामने आते रहे है। लेकिन अलग अलग जगहों पर हुई सामूहिक फ़ूड पॉइज़निंग की घटनाओ की जाँच  स्थानीय प्रशासन तक ही सिमित रहती है। और बाद में मिडिया व जनता दोनों द्वारा ही ऐसी फ़ूड पॉइज़निंग की घटनाओ को भूल जाते है।

प्रशासन भी ऐसी घटनाओ की जाँच ठन्डे बस्ते में फाइल बनाकर अपना पल्ला झाड़ लेते है। जबकि ऐसी घटनाओ में दोषी व्यक्तियों के लिए कड़ी सजा का प्रावधान है। लेकिन इसके लिए जिम्मेदार केंद्रीय संस्था खाद्य सुरक्षा एवं मानक प्राधिकरण (FSSAI ) का उदासीन रवैया भी है। FSSAI मात्र लाइसेंस बांटने और इवेंट बाजी में ही व्यस्त देखी जा सकती है। 

 5 सितंबर 2023 केरल
तिरुवनंतपुरम में संदिग्ध खाद्य विषाक्तता से चार वर्षीय लड़के की मौत हो गई। चार साल के अनिरुद्ध गोवा से विलावूरकाल अपने परिवार के साथ लौट रहा था। लौटते समय मडगांव के रेलवे स्टेशन पर शावरमा खाया था। बच्चे की मौत के साथ साथ और कितने यात्रियों की तबियत ख़राब या अस्पताल जाने की नौबत आयी इसकी जानकारी नहीं है। न ही कोई प्रशासनिक कार्यवाही की सूचना है। 

  8 मई 2023
यूपी के बदायूं में शादी समारोह में खाना खाने से 10 बच्चे बीमार पड़ गए। उन्होंने बताया कि बच्चों को जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया है। 

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28 अगस्त 2023 महाराष्ट्र
एक अधिकारी ने सोमवार को कहा कि सांगली जिले में महाराष्ट्र सरकार द्वारा सहायता प्राप्त आवासीय विद्यालय के 160 से अधिक छात्रों को संदिग्ध भोजन विषाक्तता के कारण अस्पताल में भर्ती कराया गया है।

  12 सितंबर 2023 तेलंगाना
एक अधिकारी ने मंगलवार को बताया कि राज्य के निजामाबाद जिले में एक आवासीय बालिका विद्यालय की 78 छात्राएं खाना खाने के बाद बीमार हो गईं और उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया।  

  14 सितम्बर 2023
भोजन विषाक्तता के बाद मन्नानूर एसटी गर्ल्स हॉस्टल की 40 छात्राएं बीमार
हैदराबाद: नागरकर्नूल के अमराबाद मंडल के मन्नानूर में एक आदिवासी गर्ल्स हॉस्टल की चालीस छात्राएं दोपहर के भोजन में ‘टमाटर चारू’ खाने के बाद गुरुवार देर रात बीमार पड़ गईं। छात्रों ने सांस लेने में कठिनाई और उल्टी की शिकायत की और उन्हें साथी छात्रों और स्थानीय लोगों ने ऑटोरिक्शा, लॉरी और एम्बुलेंस में पास के एक अस्पताल में पहुंचाया।  

  19 सितंबर 2023
मध्य प्रदेश के जबलपुर जिले में एक सरकारी स्कूल के छात्रावास मेस में रात्रि भोजन के बाद भोजन विषाक्तता की शिकायत के बाद लगभग 100 छात्रों को अस्पताल में भर्ती कराया गया। 

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 18 सितम्बर 

तमिलनाडु के  नामक्कल के एक रेस्तरां से चिकन शावर्मा खाने से 14 वर्षीय लड़की सोमवार, 18 सितंबर को अपने आवास पर मृत पाई गई। पीड़िता के परिवार के चार सदस्यों और 11 मेडिकल कॉलेज के छात्रों सहित कुल 43 लोगों को बुखार हो गया। पकवान खाने के बाद उल्टी, पेट दर्द और दस्त के कारण, उन्हें नमक्कल सरकारी मेडिकल कॉलेज और अस्पताल (पीएमसीएच) और निजी अस्पतालों में भर्ती कराया गया और उनका इलाज चल रहा था।हालाँकि इस घटना में स्थानीय प्रशासन मुस्तैद दिखा।

पुलिस अधीक्षक एस. राजेश कन्नन ने कहा कि मालिक नवीन के खिलाफ आईपीसी की धारा 273 (हानिकारक भोजन की बिक्री), 304 (ii) (गैर इरादतन हत्या) और 328 (जहर के माध्यम से चोट पहुंचाना) के तहत मामला दर्ज किया गया है। कुमार, रसोइया, संजय महाकुर और दबाश कुमार, दोनों ओडिशा के मूल निवासी हैं। उन्होंने कहा, “तीनों को गिरफ्तार कर लिया गया।”

खाद्य सुरक्षा विभाग ने जिले भर के रेस्तरां और होटलों में शावरमा और ग्रिल्ड चिकन की बिक्री पर भी अस्थायी रूप से प्रतिबंध लगा दिया है।   

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देश में हो रही सामूहिक फ़ूड पॉइज़निंग की खबरे अब आम हो गई है। और केंद्रीय संस्थान FSSAI इस स्थिति को लेकर बिलकुल भी सक्रीय नहीं है। ऐसे में आम नागरिको का जीवन कभी भी खतरे में आ सकता है। क्योकि खाना तो जरुरी है। और सामाजिक तानेबाने में हम सामाजिक जीव सामूहिक समारोह और दावतों में या अपने बच्चो की पढ़ायी के लिए हॉस्टलों को नकार नहीं सकते। ऐसे में हमारी सक्रियता का कोई मतलब नहीं जब तक की स्थानीय प्रशासन और केंद्रीय FSSAI सक्रिय न हो। 

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