कंज्यूमर कार्नर
बाजार के अंकुरित अनाज व दालों से सावधान।
बाजार में अंकुरित अनाज व दालों का आटा स्वास्थ्य के लिए हो सकता है खतरनाक
अंकुरित करने के सही तरीके के बारे में जानिए
अंकुरित अनाज व दालों खाना हमेशा से स्वास्थकारी माना जाता है। जो की सत्य है। लेकिन बाजार में उपलब्ध अंकुरित उत्पादों को देखे तो कुछ एक कंपनी या स्टार्टअप कंपनी मेट्रो शहरों में देखने को मिल जाती हैं।
आज के दौर में जहा हर कोई कुछ भी बेचने और खरीदने को तैयार है। वहां अंकुरित प्रदार्थ कैसे बाजार से दूर रह सकते थे।
बाजार में अंकुरित मूंग चना गेहू आदि कई अंकुरित प्रदार्थ एकल या मिश्रित पैकिंग में बाजार में उपलब्ध है।जिसमे खाद्य संदूषक (बैक्टीरिया वायरस फंगस आदि ) पाए जाना एक आम बात है। बाजार में उपलब्ध अंकुरित अनाज व दालों धोकर या उबालकर या फ्राई करके खाद्य संदूषको को कम किया जा सकता है।
अंकुरित अनाज या दालों में एमिनो एसिड्स व प्रोटीन व एंटीऑक्सीडेंट पाए जाते है। प्राय घर में अनाज व दालों को अंकुरित करने की प्रक्रिया में साफ सफाई का ध्यान रखा जाता है। साफ सफाई का ध्यान रखा ही जाना चाहिए।
अब बाजार में अंकुरित अनाज का आटा भी उपलब्ध है। जिसे कथित रूप से स्वास्थ्य के लिए बहुत ही अच्छा बता कर बेचा जा रहा है।जबकि ये बहुत ही खतरनाक हो सकता है। किसी भी बीज का अंकुरण उस बीज के जीवन की शुरुवात होती है। जिसे ताजा ही खाना चाहिए।
अंकुरित अनाजों को सूखा कर उसका आटा बनाना स्वास्थ्य के लिए खतरनाक हो सकता है। क्यों की ऐसे अनाज को आटा बनाने के लिए इनको सुखाया जाता है ,जो की अंकुरित अनाज में पौधे बनने की प्रक्रिया को रोका जाता है। फलस्वरूप अंकुरित अनाज में अपने बचाव की प्रक्रिया शुरू हो जाती है। और कई तरह के घातक जैव रसायनो का निर्माण होता है।
अंकुरित अनाज जो सुख गया है वो वापस हरा नहीं हो सकता। क्योकि अब वह पूर्ण रूप से मर चूका है। आमतौर पर औद्योगिक रूप से अनाज के अंकुरण में कई तरह के अवांछित पदार्थों का उपयोग किया जाता है जिससे अंकुरण जल्दी हो फिर इनको सुखाने के लिए सबसे सस्ते तरीको में से एक धुप में सुखाया जाता है।
इतनी बड़ी मात्रा में इसमें ई-कोलाई साल्मोनेला लिस्ट्रिया जैसे खाद्य संदूषको का पनपना बहुत आसान हो जाता है।तथा पीसे हुवे आटे के साथ आपके स्वास्थ्य के साथ खिलवाड़ कर सकता है। तथा ऐसे ही आटे से बने अन्य खाद्य प्रदार्थ भी इतने ही खतरनाक हो सकते है।
पश्चिमी देशो में अंकुरित उत्पादों पर वहा की खाद्य सुरक्षा विभाग की निरन्तर निगरानी में बेचे जाते है। भारत में अभी तक कोई बड़ी कम्पनी ऐसे उत्पादों पर जोर नहीं देती है। जिस वजह से FSSAI भी ऐसे उत्पादों की जाँच पड़ताल में विशेष रूचि नहीं लेती है।
घर में अनाज व दालों को अंकुरित करते समय क्या क्या सावधानी रखनी चाहिए।
(1 ) अनाज व दालों को पहले धो कर साफ़ पानी में 3-4 घंटे एयरटाइट बर्तन में ड़ाल कर रखे। कभी भी खुले बरतन में अनाज या दाल को नहीं भिगोना चाहिए।
(2 ) अंकुरण के लिए साफ कपडे का उपयोग करे। स्प्राउट मेकर को भी अच्छी तरह से साफ़ करे व उपयोग नहीं होने पर सूखा कर ही रखे।
(3 ) अंकुरण के दौरान अगर फफूंद लग जाये तो अंकुरित वस्तु काम में ना लेवे।
(4) अंकुरित अनाज व दालों को उपयोग से पहले गर्म पानी में धो लेवे।
(5 ) अंकुरित अनाज को लम्बे समय तक फ्रिज में नहीं रखना चाहिए। ताजा अंकुरित अनाज ही उपयोग में लेवे
फूडमेन अपने पाठकों को बाजार में उपलब्ध अंकुरित अनाज व दालों को लेकर सावधान रहने की सलाह देता है।तथा घर में भी अंकुरण के लिए जरुरी सावधानी और सतर्कता बरतने की जरुरत है।अनाज को अच्छी तरह से धो कर भिगो देवे तथा छानने के बाद सुखी और साफ जगह पर या अंकुरित करने के उपकरणों को भी अच्छी तरह साफ करके ही उपयोग में लाये। अंकुरित होने के बाद इसे गर्म पानी में कुछ देर रख कर धोये।व फ्राई भी किया जा सकता है। स्वस्थ हर कोई रहना चाहता है। लेकिन स्वस्थ रहने के और भी तरीके हो सकते है।